मासिक कृष्ण जन्माष्टमी कल है, पूजा के दौरान इन मंत्रों के जाप से विशेष फल प्राप्त हो सकती है

हर महीने कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मासिक कृष्ण जन्माष्टमी मनाई जाती है। इस दौरान भगवान श्रीकृष्ण की पूजा-अर्चना करने का विधान है। इस वर्ष आश्विन माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि 06 अक्टूबर को पड़ रही है। ऐसे में आइए जानते हैं कि मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का शुभ मुहूर्त और पूजा विधि।

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हर महीने कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मासिक कृष्ण जन्माष्टमी मनाई जाती है। इस दौरान भगवान श्रीकृष्ण की पूजा-अर्चना करने का विधान है। इस वर्ष आश्विन माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि 06 अक्टूबर को पड़ रही है। ऐसे में आइए जानते हैं कि मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का शुभ मुहूर्त और पूजा विधि।

शुभ मुहूर्त

आश्विन माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि का आरंभ 06 अक्टूबर सुबह 04 बजकर 04 मिनट से हो रहा है। साथ ही इसका समापन 07 अक्टूबर सुबह 05 बजकर 38 मिनट पर होगा। ऐसे में आश्विन माह की मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का व्रत 06 अक्टूबर को किया जाएगा। इस दौरान पूजा का शुभ मुहूर्त रात 11 बजकर 27 मिनट से 12 बजकर 14 मिनट तक रहेगा।

इस विधि से करें पूजा

मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान आदि से निवृत हो जाएं। इसके बाद भगवान कृष्ण का ध्यान करते हुए व्रत का संकल्प लें। भगवान कृष्ण की पूजा के दौरान उन्हें फूल, अक्षत, तुलसी दल आदि अर्पित करें। साथ ही भगवान श्री कृष्ण को उनके प्रिय भोग जैसे मेवा, माखन मिश्री अर्पित करें। अंत में धूप और दीप जलाकर कृष्ण जी की आरती करें और प्रसाद सभी लोगों को वितरित करें।

हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे।

हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे।।

यह कृष्ण जी का बहुत ही आसान मंत्र हैं। ऐसे में मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के दिन इस मंत्र का जाप अवश्य करें। इससे व्यक्ति के जीवन में सुख-शांति बनी रहती है।

संकटों के नाश के लिए मंत्र

कृष्णाय वासुदेवाय हरये परमात्मने।

प्रणत क्लेशनाशाय गोविन्दाय नमो नम:

मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के दिन इस मंत्र का जाप करने से साधक के जीवन में चल रहे सभी दुख-दर्द दूर हो जाते हैं। इसलिए इसे संकट नाशक मंत्र भी कहा जाता है।