मच्छरों के पास आने का बड़ा कारण है आपका साबुन, वर्जीनिया यूनिवर्सिटी की रिसर्च में हुआ बहद चौंकाने वाला खुलासा

साल का वह समय एक बार फिर आ गया है जब मच्छरों की आबादी बढ़ जाती है और वे काफी एक्टिव हो जाते हैं। ऐसे समय में जरूरी है कि हम खुद को मच्छरों से बचाएं, ताकि हम मलेरिया, डेंगू, ज़ीका और वेस्ट नाइल वायरस जैसी घातक बीमारियों से बच सकें। उमस और गर्मी का पारा चढ़ने ने मच्छरों की तादाद भी बढ़ने लगती है। ऐसा इसलिए क्योंकि यह समय मच्छरों की ब्रीडिंग के लिए बेस्ट होता है। इसलिए जरूरी है कि इस बारे में अपनी जानकारी बढ़ाएं और इस मौसम में हम बीमार पड़ने के रिस्क को कम करें।

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साल का वह समय एक बार फिर आ गया है जब मच्छरों की आबादी बढ़ जाती है और वे काफी एक्टिव हो जाते हैं। ऐसे समय में जरूरी है कि हम खुद को मच्छरों से बचाएं, ताकि हम मलेरिया, डेंगू, ज़ीका और वेस्ट नाइल वायरस जैसी घातक बीमारियों से बच सकें। उमस और गर्मी का पारा चढ़ने ने मच्छरों की तादाद भी बढ़ने लगती है। ऐसा इसलिए क्योंकि यह समय मच्छरों की ब्रीडिंग के लिए बेस्ट होता है। इसलिए जरूरी है कि इस बारे में अपनी जानकारी बढ़ाएं और इस मौसम में हम बीमार पड़ने के रिस्क को कम करें।

वर्जीनिया पॉलिटेक्निक इंस्टीट्यूट और स्टेट यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं द्वारा किए गए एक नए अध्ययन में बताया कि अगर आपको मच्छर ज्यादा काटते हैं, तो इसके पीछे आपके द्वारा इस्तेमाल किया जा रहा साबुन भी जिम्मेदार हो सकता है। शोध में इस फैक्ट को साबित भी किया गया।

लोगों द्वारा उपयोग किए जा रहे अलग-अलग खुशबू वाले साबुन को स्टडी किया गया, जिनकी ओर मच्छर आकर्षित होते हैं। इस शोध के नतीजे जर्नल iScience में प्रकाशित किए गए। इस रिसर्च के वैज्ञानिकों के अनुसार, मच्छर साबुन की ओर आकर्षित हो सकते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि वे जब खून नहीं पी रहे होते, तो वे पौधे के रस के साथ चीनी का सेवन पूरा करते हैं। ऐसे में वे खुशबू वाले साबुन की ओर भी आकर्षित हो जाते हैं। शोध में भी देखा गया कि मच्छर उन लोगों की ओर ज्यादा आकर्षित हो रहे हैं, जो खुशबूदार साबुन से नहाते हैं।

इस शोध के लिए उन्होंने चार वॉलंटियर्स को शामिल किया, जिन्होंने फैब्रिक के चार सैम्पल भेजे, कुछ को खुशबूदार साबुन से धोया गया और कुछ नहीं। शोध में देखा गया कि मादा मच्छर जो खून पीकर जिंदा रहती है, उन्हीं कपड़ों की ओर आकर्षित हुई जिनमें से खुशबू आ रही थी।

जॉर्जिया विश्वविद्यालय के सवाना रिवर इकोलॉजी लैब और संक्रामक रोगों के विभाग में वेक्टर इकोलॉजी और संक्रामक रोगों के सहायक प्रोफेसर, डैनियल पीच ने विस्तार में समझाते हुए कहा, " मच्छर कई तरह की चीजों की ओर आकर्षित होते हैं, जिसमें हमारी सांस से निकले वाली कार्बन डायऑक्साइड भी है, गंध जैसे कि हमारे चयापचय या हमारी त्वचा माइक्रोबायोटा द्वारा उत्पादित वाष्पशील, गहरे रंग, जैसे कि अगर हम काले या अन्य डार्क रंग के कपड़े पहनते हैं।"

वर्जीनिया पॉलिटेक्निक इंस्टीट्यूट और स्टेट यूनिवर्सिटी में काम का नेतृत्व करने वाले क्लेमेंट विनाउगर ने कहा, " असल में हम फ्रूटी और फूल की संगुध को अपने शरीर पर लगा रहे हैं, जिसका मतलब मच्छर को हम में से फूलों और इंसानों दोनों की खुशबू आती है। यह ऐसा ही हुआ कि हमें किसी एक चीज से कॉफी और मफिन दोनों की सुगंध आए, जिसकी ओर हम जाहिर तौर पर आकर्षित होंगे। मच्छर पहले से ही मनुष्यों की गंध से आकर्षित होते हैं, और जब वे खुशबूदार साबुन का इस्तेमाल कर लेते हैं, तो मच्छर और ज्यादा आकर्षित होने लगते हैं।"

मच्छरों से बचने के उपाय

मच्छरों को अपनी ओर कम आकर्षित करने के लिए पीच ने कुछ सुझाव दिए। जिसमें उन्होंने कहा कि सबसे अच्छा है कि आप मॉस्कीटो रिपेलेंट का इस्तेमाल करें, इसके अलावा गहरे रंग के कपड़े पहनने से बचें, हल्के रंग का ज्यादा से ज्यादा उपयोग करें। कई शोध में पता चला है कि नारियल युक्त कैमिकल्स खून पीने वाले कीड़ों के लिए अच्छे रिपेलेंट साबित होते हैं। इसलिए अगर आपको ज्यादा ही मच्छर काटते हैं, तो आपको इनका उपयोग जरूर करना चाहिए।